ब्रेक न्यूज़ ब्यूरो
बस्ती। जिले में पंचायत चुनाव के दौरान नियम विरुद्ध मनमाने ढंग से चीन निर्मित सोलर लालटेन की खरीद में घोटाले का मामला प्रकाश में आने के बाद विकास भवन से लेकर जिला पंचायत राज अधिकारी कार्यालय में खलबली मच गई है। डीडी पंचायत के आदेश पर सीडीओ और डीपीआरओ ने भुगतान पर रोक लगा दी है। और दोषियों के खिलाफ कार्यवाही के आदेश भी दिये है ।
इसे लेकर शुक्रवार को दिनभर विकास भवन का माहौल गर्म रहा। डीपीआरओ एपी त्रिपाठी ने बताया कि सोलर लालटेन के खरीद आदेश और आपूर्ति करने वाली फर्म की जानकारी उन्हें नहीं है। उन्होंने माना कि इस मामले में अनियमितता बरती गई। ग्राम निधि से इस मद में रकम खर्च करना अनियमितता की श्रेणी में आता है।
* खरीद में भी अनियमता
नियमानुसार कोई भी खरीद स्थानीय स्तर पर नहीं होती है, इसके लिए विभाग से अनुमति लेनी पड़ती है। जो कि इस मामले नहीं किया गया। बताया कि भुगतान पर रोक लगा दी गई है और सभी एडीओ पंचायत से इस मामले में रिपोर्ट मांगी गई है।
उप निदेशक पंचायत एसके पटेल ने बताया कि ग्राम निधि से पंचायत चुनाव के कार्य के लिए धन व्यय ही नहीं किया जा सकता है। जो भी धन व्यय किया गया, वह अनियमित है। निदेशक पंचायती राज के निर्देश पर इसकी जांच हो रही है।
* 80 हजार बन गये 78 लाख
बताया जाता है कि इस मामले में सरकारी धन के दुरुपयोग के आरोप में एडीओ पंचायत और पंचायत सेक्रेटरी के साथ सोलर लाइट खरीद आदेश देने वाले अफसरों के खिलाफ भी कार्रवाई भी की सकती है। बताया कि 1350 रुपये की दर से 5792 सोलर लालटेन की खरीद की गई, जिसकी लागत लगभग 78 लाख रुपये है। जबकि इसकी कुल वास्तविक कीमत पांच लाख 80 हजार रुपये है। लेकिन अवैध तरीके से लेबल चिपका कर कीमत कई गुना बढ गई
* CDO आदेश के बाद की गई थी खरीद दारी
25 नवंबर को CDO सोबरन सिंह ने पंचायत चुनाव में मतदान स्थल पर प्रकाश व्यवस्था के लिए जिले के सभी बीडीओ को ग्राम निधि से सोलर लालटेन खरीदने का निर्देश दिया था।उस के शुरू हो गया दिमाग लगाना कि कंहा से मिल सकता है मोटा कमीशन
साथ ही बैंकों को भी निर्देश जारी किया गया था कि अगर सोलर लाइट खरीद के संबंध में भुगतान के लिए कोई चेक आता है तो उसे चुनाव की महत्ता को देखते हुए त्वरित भुगतान कर दिया जाए। यह आदेश इसलिए जारी हुआ था कि डीपीआरओ ने ग्राम निधि के खाते पर रोक लगा दी थी। इसके बाद बैंकों सोलर लाइट का भुगतान शुरू कर दिया।
* कमीशन खोरी में प्रशासक के रूप एडीओ पंचायत ने की मनमानी भुगतान के लिये की जल्दबाजी
बस्ती। ग्राम प्रधानों का कार्यकाल समाप्त होने के बाद एडीओ (पंचायत) को प्रशासक बनाया गया, उसी का फायदा उठा कर एडीओ (पंचायत) ने मनमाने तरीके से बिना अधिकारियों के संज्ञान में लाए चेक काटना शुरू कर दिया।ताकि मोटा कमीशन हाथ से न निकल जाये । और किसी को कानो कान खबर भीं न लगे ।
* जब अपनी गर्दन फंसी तो खोज रहे बचाव के रास्ते
अब अपने को फंसता देख हाथ-पांव मारने लगे हैं। कई एडीओ (पंचायत) ने नाम न छापने की शर्त पर बताया कि भुगतान के लिए विकास भवन से बराबर दबाव बनाया जा रहा था। बताया कि ‘ब्रेक न्यूज़’ में खबर चलने के बाद कई एडीओ (पंचायत) ने बैंक से भुगतान रोकवा दिया।
बस्ती। जिले में पंचायत चुनाव के दौरान नियम विरुद्ध मनमाने ढंग से चीन निर्मित सोलर लालटेन की खरीद में घोटाले का मामला प्रकाश में आने के बाद विकास भवन से लेकर जिला पंचायत राज अधिकारी कार्यालय में खलबली मच गई है। डीडी पंचायत के आदेश पर सीडीओ और डीपीआरओ ने भुगतान पर रोक लगा दी है। और दोषियों के खिलाफ कार्यवाही के आदेश भी दिये है ।
इसे लेकर शुक्रवार को दिनभर विकास भवन का माहौल गर्म रहा। डीपीआरओ एपी त्रिपाठी ने बताया कि सोलर लालटेन के खरीद आदेश और आपूर्ति करने वाली फर्म की जानकारी उन्हें नहीं है। उन्होंने माना कि इस मामले में अनियमितता बरती गई। ग्राम निधि से इस मद में रकम खर्च करना अनियमितता की श्रेणी में आता है।
* खरीद में भी अनियमता
नियमानुसार कोई भी खरीद स्थानीय स्तर पर नहीं होती है, इसके लिए विभाग से अनुमति लेनी पड़ती है। जो कि इस मामले नहीं किया गया। बताया कि भुगतान पर रोक लगा दी गई है और सभी एडीओ पंचायत से इस मामले में रिपोर्ट मांगी गई है।
उप निदेशक पंचायत एसके पटेल ने बताया कि ग्राम निधि से पंचायत चुनाव के कार्य के लिए धन व्यय ही नहीं किया जा सकता है। जो भी धन व्यय किया गया, वह अनियमित है। निदेशक पंचायती राज के निर्देश पर इसकी जांच हो रही है।
* 80 हजार बन गये 78 लाख
* CDO आदेश के बाद की गई थी खरीद दारी
25 नवंबर को CDO सोबरन सिंह ने पंचायत चुनाव में मतदान स्थल पर प्रकाश व्यवस्था के लिए जिले के सभी बीडीओ को ग्राम निधि से सोलर लालटेन खरीदने का निर्देश दिया था।उस के शुरू हो गया दिमाग लगाना कि कंहा से मिल सकता है मोटा कमीशन
साथ ही बैंकों को भी निर्देश जारी किया गया था कि अगर सोलर लाइट खरीद के संबंध में भुगतान के लिए कोई चेक आता है तो उसे चुनाव की महत्ता को देखते हुए त्वरित भुगतान कर दिया जाए। यह आदेश इसलिए जारी हुआ था कि डीपीआरओ ने ग्राम निधि के खाते पर रोक लगा दी थी। इसके बाद बैंकों सोलर लाइट का भुगतान शुरू कर दिया।
* कमीशन खोरी में प्रशासक के रूप एडीओ पंचायत ने की मनमानी भुगतान के लिये की जल्दबाजी
बस्ती। ग्राम प्रधानों का कार्यकाल समाप्त होने के बाद एडीओ (पंचायत) को प्रशासक बनाया गया, उसी का फायदा उठा कर एडीओ (पंचायत) ने मनमाने तरीके से बिना अधिकारियों के संज्ञान में लाए चेक काटना शुरू कर दिया।ताकि मोटा कमीशन हाथ से न निकल जाये । और किसी को कानो कान खबर भीं न लगे ।
* जब अपनी गर्दन फंसी तो खोज रहे बचाव के रास्ते
अब अपने को फंसता देख हाथ-पांव मारने लगे हैं। कई एडीओ (पंचायत) ने नाम न छापने की शर्त पर बताया कि भुगतान के लिए विकास भवन से बराबर दबाव बनाया जा रहा था। बताया कि ‘ब्रेक न्यूज़’ में खबर चलने के बाद कई एडीओ (पंचायत) ने बैंक से भुगतान रोकवा दिया।

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