Friday, September 21, 2018

रेवाड़ी गैंगरेपः आरोपी पंकज की गर्भवती पत्नी आई सामने, बोली- मेरा उससे कोई रिश्ता नहीं है


टीम ब्रेक न्यूज़ ब्यूरो
रेवाड़ी गैंगरेप बहुचर्चित रेवाड़ी गैंगरेप केस में मुख्य आरोपी पंकज की पत्नी सामने आई है और उसने जो बयान दिया है, सुनकर पति महाशय भी हक्के-बक्के रह जाएंगे। गैंगरेप मामले में मुख्य आरोपी पंकज फौजी की पत्नी ज्योति ने कहा कि उसका पंकज के साथ अब कोई रिश्ता नहीं हैं। उसने उसके साथ धोखा किया है। वह इस धोखे को बर्दाश्त नहीं कर पाएगी। इसलिए वह अब उसके साथ नहीं रहना चाहती।
ज्योति ने कहा कि पुलिस ने उसके मायके वालों को परेशान कर रखा है। नाबालिग भाई और पिता को पिछले पांच छह दिनों से उठा रखा है। जबकि उनका कोई कसूर भी नहीं हैं। इतना ही नहीं पुलिस रात के 2-2 बजे आकर उन्हें परेशान कर रही है। हमसे बार-बार पंकज के बारे में पूछती है। जब हमें उसके बारे में कुछ पता ही नहीं तो हम क्या बताएं। घर पर कोई आदमी भी नहीं हैं। वह सात माह की गर्भवती है।
इस समय वह मानसिक रूप से परेशान चल रही है। अगर उसके और उसके पेट में पल रहे बच्चे को कुछ हुआ तो इसका जिम्मेदार पुलिस प्रशासन होगा। बता दें कि 15 नवंबर 2017 को आरोपी पंकज की शादी गांव कुराहवटा निवासी मनोज की बेटी ज्योति के साथ हुई थी। ज्योति ने बताया था कि उसने पंकज के बारे इस प्रकार की कोई शिकायत नहीं सुनी थी। लेकिन अब उसका पंकज से विश्वास उठ गया है। अव वह उसके साथ नहीं रहना चाहती।

आरोपी को गोली मारो या फांसी दो, हमें कोई मतलब नहीं

रेवाड़ी गैंगरेप
दुष्कर्म के आरोपी पंकज की सास प्रमोद ने कहा कि अब पंकज के परिवार से उनका कोई रिश्ता नहीं हैं। पुलिस आरोपी के गोली मारे या फांसी दे, उनका उससे कोई मतलब नहीं हैं। पुलिस के कहने पर बेटी को घर ले आए थे। बेटी ज्योति सात माह की गर्भवती है, अगर इसके बच्चे को कुछ हो गया तो इसका जिम्मेवार कौन होगा? रोज पुलिस दो से तीन बार चक्कर लगाती है। आखिर उनका कसूर क्या है? पुलिस उन्हें छोड़ें, वरना वीरवार को पूरे गांव की पंचायत नाहड़ थाने में जाएगी।

नाबालिग भाई को लिया हिरासत में
ज्योति ने कहा कि पुलिस ने उसके नाबालिग भाई को दिनेश को पिछले एक सप्ताह से हिरासत में ले रखा है। जबकि चार दिन से पिता मनोज भी पुलिस की हिरासत में है। ज्योति ने बताया कि उसकी ननद का ऑपरेशन से बच्चा हुआ था, जिसकी पेट के अंदर ही मृत्यु हो गई थी। उसका हाल चाल जानने के लिए उसका भाई उसके ससुराल गया था।

अभी वह दसवीं कक्षा में पढ़ता है और नाबालिग है। उसका क्या कसूर है जो पुलिस ने इतने दिन से उसको हिरासत में ले रखा है। उसके पिता का क्या कसूर है? पुलिस बेवजह उन्हें क्यों परेशान कर रही है। जब वो पंचायत लेकर कनीना थाने में गए थे तो पुलिस वालों ने उसके भाई का चेहरा तक नहीं दिखाया।

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